हमारे नीति निर्माताओं ने जिस सिद्धांत पर चलकर भारत निर्माण का देखा सपना उसे करेंगे साकार – वकीलसिंह ठकराला
पीयूष चन्देल, अलीराजपुर
देश की आजादी के बाद विभाजन की त्रासदी को झेलते हुए भारत का जो विघटन हुआ वह बड़ा ही दुर्भाग्यपूर्ण था, उस समय भारतीय जनसंघ के संस्थापक डॉक्टर श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने तत्कालिन नेहरू सरकार की कश्मीर नीति का पुरजोर विरोध करते हुए नारा दिया था, कि एक देश में दो निशान, दो विधान और दो प्रधान नहीं चलेंगे और इसी का विरोध करते हुए डॉक्टर श्यामा प्रसाद मुखर्जी का कश्मीर में बलिदान हुआ था, जो देश की आजादी के बाद देश की एकता और अखंडता को बनाए रखने के लिए पहला बलिदान था। तब से लेकर नरेंद्र मोदी की सरकार तक अनुच्छेद 370 एवं 35 ए पर भाजपा के विचार नहीं बदले तभी तो केंद्र में पूर्ण बहुमत में सरकार आने के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अनुच्छेद 370 एवं 35 ए को हटाने का कार्य किया। हमारे नीति निर्माताओं द्वारा जिन सिद्धान्तों पर चलकर भारत निर्माण का सपना देखा गया था, उसी पर आज भी भाजपा कायम है। यह हमारी कथनी एवं करनी की एक रूपता को दर्शाता है। यह बात भाजपा जिलाध्यक्ष वकीलसिंह ठकराला ने भाजपा कटठीवाड़ा मंडल के दो दिवसीय प्रशिक्षण वर्ग के समापन अवसर पर कहीं। इस अवसर पर सत्र को संबोधित करने के लिए थांदला के पूर्व विधायक कलसिंह भाबर एवं श्याम ताहेड़ प्रमुख रूप से मौजूद थे।