कस्बे में लाखों के टैक्स बकाया ‘जलकर’ जमा कराने के नोटिस दिए गए

- Advertisement -

मयंक विश्वकर्मा, आम्बुआ

आम्बुआ ग्राम पंचायत में प्रशासनिक उदासीनता के कारण कस्बे में विभिन्न प्रकार के टैक्स बकाया पड़े हैं जिस कारण विकास कार्य तथा सफाई कर्मियों के वेतन, बिजली बिल आदि अनेक भुगतान नहीं हो पा रहे हैं अभी हाल ही पंचायत प्रशासन की ओर ‘जलकर’ जमा करने के नोटिस जारी किए गए हैं जिसका कितना असर होता है यह आगे पता चलेगा इसके अलावा भी अनेक प्रकार के बकायादारों की लंबी फेहरिस्त है जिन्हें आगामी महीनों में जारी की जाने की बात कही जा रही है।

           मिली जानकारी के अनुसार कस्बे में लगभग 40 साल पूर्व नल जल योजना (तत्कालीन कांग्रेस सांसद) स्वर्गीय श्री दिलीप सिंह भूरिया के प्रयासों से प्रारंभ हुई थी तब दोनों समय तथा बाद प्रतिदिन जलप्रदाय किया जाता था तथा शुल्क (जलकर) 30 रुपए प्रतिमाह था बाद एक दिन छोड़कर एक समय जल प्रदान किया जाने लगा तथा जलकर बढ़ा कर 40 रुपए प्रतिमाह फिर 60,70,90,100 रुपए किया गया तथा अभी हाल ही में 120 रूपए प्रति माह एक दिन छोड़कर जल प्रदाय किया जा रहा है कस्बे के अनेक परिवारों ने घरों में ट्यूबवेल खनन कर लिए तो कहीं ने नल कनेक्शन कटवा लिए। कई परिवार लगभग 200 जल उपभोक्ता आज भी नल से जल प्राप्त कर रहे हैं एक दिन छोड़कर कुछ समय के लिए दिया जा रहा पानी भले ही पर्याप्त नहीं मिल पा रहा है मगर टैक्स की बड़ी दरों का किसी ने भी विरोध नहीं किया। नोटिस के कारण बकायादारों में हड़कंप मचा है।

         इतने सालों से पंचायत जलप्रदाय कर रही है मगर कभी भी टैक्स की वसूली में शख्ती नहीं दिखाई जो समय पर जलकर दे रहे हैं वह आज भी देते आ रहे हैं मगर कई उपभोक्ता पंचायत की उदासीनता का लाभ उठाकर टैक्स नहीं दे रहे हैं स्थिति यह हो गई कि उपभोक्ताओं पर हजारों का जलकर बकाया हो गया बताते हैं कि अभी हाल ही में जिन 50 बकायादारों को नोटिस दिया गया है उन पर 1 लाख 20 हजार की लेनदारी निकल रही है जिन्होंने कनेक्शन कटवा दिए थे उनका बकाया का आता-पता नहीं है 50 बकायादारों के अलावा भी और बकायादार है जिनको भी नोटिस देने की बात कही जा रही है।

         जलकर के अतिरिक्त हाट बाजार, मवेशी बाजार ठेकों तथा दुकानों का किराया, भवन कर, प्रकाश कर का भी लाखों रुपए बाकी है जिस किसी को पंचायत से कभी कोई प्रमाण पत्र या नोडयूज आदि लेना होता है तब संबंधित को बताया जाता है कि उनका टैक्स बकाया है उस समय यदि कम हुआ तो भर दिया जाता है या फिर थोड़ा कुछ भरकर शेष जल्दी भर देंगे कह कर प्रमाण पत्र ले लिया जाकर शेष राशि बाकी रह जाती है इस तरह यह राशि बढ़ती बढ़ती लाखों में पहुंच गई। पंचायत सचिव नवलसिंह डुडवे ने बताया कि सभी तरह के बकायदारों को नोटिस देकर आगामी समय में शख्ती के साथ वसूली की जाएगी ताकि पंचायत की माली हालत को सुधारा जा सके।