झाबुआ लाइव के लिए पेटलावद से हरीश राठौड़ की रिपोर्ट–
आस्था का केंद्र है तारखेड़ी का विश्वमंगल हनुमान धाम-
विकासखंड का प्राचीन तीर्थस्थल श्री विश्वमंगल हनुमान धाम लोगों की आस्था का बड़ा केंद्र है। यहां हनुमान जन्मोत्सव पर भक्तों का मेला लगता है। यहां प्रति मंगलवार को भी प्रदेश सहित सीमावर्ती गुजरात व राजस्थान राज्य से 20 से 25 हजार श्रद्धालु दर्शनों के लिए यहां पहुंचते है। प्रतिमा की स्थापना के दिन से प्रारंभ हुआ पूजा का क्रम अवरत जारी है। यहां प्रति मंगलवार, अश्विन व चैत्र नवरात्रि, गुरू पूर्णिमा और हनुमान जयंती पर विश्वमंगल हनुमान का अभिषेक कर चोला चढ़ाया जाता है। कलश स्थापना, पीठ पूजा, श्री हनुमंतस्त्रोत के पाठ के पश्चात धूप दीप नवैद्य अर्पण करते हैं। दोपहर एक बजे भगवान की द्वितीय आरती की जाती है। इसके बाद गुरूदेव महाराज द्वारा पूजित एवं मंत्रित विश्वमंगल हनुमानजी महाराज के आयुध गदा को यज्ञ कुंड के समीप सामूहिक रूप से भक्तों को बैठाकर मानसिक रूप से सीताराम नाम का जाप करवाते हुए उनके पूरे शरीर पर घुमाया जाता है। श्रीखेड़ा पति हनुमान मंदिर में सुबह ब्रम्ह मुहूर्त में सुंदरकांड के साथ हवन हुआ। भक्तों की भीड़ अल सुबह से ही जुटना शुरू हो गई थी। मंदिर पुजारी बब्बन दवे के संयोजन में सुंदरकांड की चौपाइयों के साथ हवन की शरुआत हुई और हनुमान चालीसा के पाठ के साथ हवन का समापन हुआ। पश्चात महाआरती के मंदिर शिखर पर ध्वज चढ़ाए गए। साथ प्रसाद वितरण हुआ। मंदिर परिसर में आज भक्त मंडल ने भंडारे का भी आयोजन रखा। बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन के लिए मंदिर में पधार रहे हे हनुमान जन्मोत्सव पर शहर के मंदिरों में अनेक धार्मिक अनुष्ठान होंगे। कहीं छप्पन भोग लगेगा तो कहीं एक साथ बैठकर सामूहिक सुंदरकांड का पाठ करेंगे। इस दौरान हवन-पूजन, कन्याभोज, और भंडारे का आयोजन होगा। प्रमुख हनुमान मंदिरो में जोर-शोर से तैयारियां अंतिम दौर में चल रही है।
खेड़ापति हनुमान मंदिर महाप्रसादी
पेटलावद स्थित खेड़ापति हनुमान मंदिर मेला ग्राउंड प्रात: 3 बजे यज्ञ, 6 बजे महाआरती प्रसादी वितरण दिन में भोजन प्रसादी आयोजन किया जाएगा। पंडित बब्बन दवे द्वारा खेड़ापति मंदिर स्थित वीर हनुमान व दास हनुमानजी की एक साथ दो मूर्ति है। बरसों पुरानी 6 बजे मंदिर शिकारपुर ध्वज भी चढ़ाया गया। खेड़ा पति हनुमान मंदिर में सुबह ब्रम्ह मुहूर्त में सुंदरकांड के साथ हवन हुआ। भक्तों की भीड़ अल सुबह से ही जुटना शुरू हो गई थी। मंदिर पुजारी बब्बन दवे के संयोजन में सुंदरकांड की चौपाइयों के साथ हवन की शुरुआत हुई और हनुमान चालीसा के पाठ के साथ हवन का समापन हुआ। पश्चात महाआरती के साथ प्रसाद वितरण हुआ। मंदिर परिसर में आज भक्त मंडल ने भंडारे का भी आयोजन रखा। बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन के लिए मंदिर में पधार रहे है। हनुमान जन्मोत्सव पर शहर के मंदिरों में अनेक धार्मिक अनुष्ठान होंगे। कहीं छप्पन भोग लगेगा तो कहीं एक साथ बैठकर सामूहिक सुंदरकांड का पाठ करेंगे। इस दौरान हवन पूजन, कन्याभोज और भंडारे का आयोजन होगा। प्रमुख हनुमान मंदिरो में जारे-शोर से तैयारियां अंतिम दौर में चल रही है।