एक ऐसा गांव जहां के लोग 30 दिन में 2 बार नहाने को है मजबूर, पानी की किल्लत से ग्रामीणों का जीना हुआ मुहाल

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झाबुआ लाइव के लिए पेटलावद से हरीश राठौड़ की रिपोर्ट-
पेटलावद क्षेत्र में गर्मी शुरू होते ही जिले से पानी की किल्लत को लेकर बड़ी बड़ी खबरे सामने आने लगती है। लगातार मीडिया द्वारा जिले के छोटे छोटे तक जाकर पानी की समस्या को जिम्मेदारों तक पहुंचाया जाता है। झाबुआ जिले का एक ऐसा गांव लेकर आये है जहां पानी की भारी किल्लत है गांव के लोग पानी पीले इतना कर लेते है लेकिन रोजाना होने वाली जरूरत पूरी नही कर पाते है इस गांव के लोग माह के 30 दिन में से सिर्फ 2 बार नहाते है। मामला पेटलावाद तहसील की ग्राम पंचायत पीठड़ी के आम्बापाडा का है। जहां गांव में पानी की भारी किल्लत है गांव वाले एक हैंडपंप के सहारे अपनी जिंदगी जी रहे। कहने को तो गांव 15 से ज्यादा हैंडपंप है लेकिन उनमें से सिर्फ हैंडपंप चालू है जो गांव से करीब 2 किमी दूर है जहां जाने के लिए सडक़ भी नही है। गांव के लोग पानी की प्यास बुझाने के लिए 2 किमी दूर पत्थरों वाले रास्ते को पार कर पहुचते है ओर फिर हैंडपंप पर घंटो पानी का इंतजार करते है। गांव के हैंडपम्प में घंटो पानी नही आता है। गांव के लोग सुबह से पानी के इंतजार में बैठे रहते है कभी-कभी तो पूरी रात हैंडपंप पर ही गुजर जाती है। गांव के लोग पानी के लिए दिन रात हैंडपंप के चक्कर लगाते रहते है जिस वजह से उनके घर पर कोई काम नही हो पाता है वह खाने से पहले पानी की जुगत में लग जाते है। आम्बापाडा गांव के लोगों का मानना है कि अगर गांव जो एक हैंडपंप है वह बंद हो जाये तो कुछ ही दिनों पूरे गांव में हाहाकार मच जाता है। गांव मे पानी की किल्लत के चलते यहां के लोग 15 दिन में एक बार ही स्नान करते हैं गांव के लोग बिना नहाए ही रहते है ना ही कपड़े धो पाते है ना ही पानी से जुड़े कोई का। उन्हें पीने का पानी मिल जाये वही बड़ी बात है। जिम्मेदारों को इस गांव की सुध लेनी चाहिए और जल्द से जल्द गांव में पानी की व्यवस्था करनी चाहिए। नही तो आम्बापाड़ा गांव के लोग अंदर ही अंदर घुट रहे है।