“शिवराज” सरकार के खिलाफ 82 वर्षीय किसान “शिवराज” करेगे “भुख हडताल” ..!!

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सलमान शेख़@ पेटलावद
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की किसानो के लिए चलाई जा रही महत्वपूर्ण योजना फसल बीमा योजना में पेटलावद के किसानो को लाभ नही मिलने के कारण किसान बेहद नाराज और आक्रोशित है। इसे लेकर बार-बार किसान आंदोलन की राह पकड़ रहे है। अब फिर से किसानो ने एक बड़े आंदोलन की चेतावनी दी है, जिसमें किसान भूख हड़ताल तो करेंगे ही और अर्द्धनग्न होकर प्रदर्शन भी करेंगे।
आज शुक्रवार को किसानो का एक प्रतिनिधि दल एसडीएम आईएएस शिशिर गेमावत से मिला। यहां उन किसानो ने फसल बीमा को लेकर हर जानकारी एसडीएम को दी। किसानो ने एसडीएम को बताया कि साहब पिछले 5 वर्षो से हम इस योजना में अपनी फसलो का बीमा करा रहे है, लेकिन हमें न तो उसका क्लेम मिला और न ही हमारे पास 5 वर्षो में कोई पालिसी मिली। इसमें कृषि अधिकारियो सहित पटवारियो और बीमा कंपनी की लापरवाही सामने आ रही है। हम जब कृषि अधिकारी या पटवारी से पूछते है कि हमारा नाम क्यो नही आया, तो वह कहते है कि आपकी फसल खराब नही हुई, जबकि पहले हुए सर्वे में यह साफ दर्शाया गया था कि क्षैत्र में किसानो की खरीफ फसल पूरी तरह चैपट हो गई है, लेकिन उसके बाद भी हमें उन खराब फसलो का क्लेम बीमा कंपनी द्वारा नही दिया गया, सिर्फ चुनिंदा किसानो को ही क्लेम दिया गया। यह कैसा न्याय है, ये कैसी योजना है। किसानो को लाभ से वंचित करने वालो अधिकारी-कर्मचारियो पर कार्रवाई कर बीमा राशि किसानो को दिलाई जाए। प्रतिनिधि मंडल में गांव बावड़ी के किसान धर्मपाल सिंह राठौर राजेंद्र सिंह राठौड़, शंभूलाल पाटीदार, रामलाल पाटीदार, सूर्यपालसिंह राठौर, भारतीय किसान यूनियन जिला महामंत्री जितेंद्र पाटीदार शामिल थे।
एसडीएम ने कृषि अधिकारी और बीमा कंपनी को किया तलब-
इस मामले में एसडीएम गेमावत ने कृषि विकास अधिकारी और बीमा कंपनी के डायरेक्टर को शनिवार को कार्यालय में हाजिर होने के लिए तलब किया है। उन्होनें कृषि अधिकारी को लताड़ भी लगाई, कि कैसे यह किसान बीमा क्लेम से वंचित रह गए। लापरवाही बर्दाश्त नही की जाएगी।
किसानो की चेतावनीः अर्द्धनग्न होकर करेंगे भूख हड़ताल-

किसान शिवराजसिंह द्वारा बताया गया कि मेरी उम्र 82 साल है मेरी फसल चोपट हो गई थी लेकिन सर्वे सही नहीं बनाकर किसानों के साथ धोखा दिया है हमारी हिम्मत नहीं टुटी है में अर्धनग्न होकर भुख हडताल पर बैठुंगा।

किसान यूनियन के जिला महामंत्री जितेंद्र पाटीदार द्वारा बताया गया कि अबकी बार सोयाबीन, टमाटर, मीर्च कि फसले बारिश में खराब हो चुकी थी लेकिन किसी भी फसल का फसल क्लेम किसानों को नहीं दिया गया और ना ही राहत राशी दी गई। क्या झाबुआ जिले का किसान मध्यप्रदेश में नहीं आता क्या जिसे हर बार ध्यान नही दिया जाता। अगर 2 दिन में किसानों कि समस्या का निराकरण नहीं हुआ तो बावडी में किसानों द्वारा बताया गया है कि वे बुधवार 13 जनवरी को अर्धनग्न होकर गांव में ही भूख हड़ताल पर बैठेंगे जिसमें अगर किसानों को कोई हानि या नुकसान हुआ तो उसकी सारी जिम्मेदारी सरकार और प्रशासन की रहेगी।