खाद के अवैध भंडारण पर प्रशासन का छापा, 500 बोरियां जब्त

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झाबुआ लाइव के लिए पेटलावद से हरीश राठौड़ की रिपोर्ट-

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समीपस्थ ग्राम धतुरिया में बंद पड़ा एक गोडाउन प्रशासन ने बीते सोमवार को सील कर दिया था, जिसे मंगलवार को अधिकारियों की उपस्थिति में खोला गया। बंद पड़े गोडाउन में सें करीब 500 से अधिक खाद की बोरिया मिली है जिससे क्षैत्र में खाद की कालाबाजारी पर फिर शक गहरा गया है। ज्ञात हो की पेटलावद क्षैत्र में बड़े स्तर पर खाद की कालाबाजारी की जाती है ऐसे में ग्रामीण क्षैत्र में इस तरह के गोड़ाउन की सूचना मिलना किसी बड़ी कालाबाजारी की और संकेत कर रहा है।
गोडाउन मालिक गुड्डुसिंह पडिय़ार के मकान में स्थित है और बार बार बातचीत के दौरान गुड्डुसिंह अपने बयान बदल रहा है। वहीं दूसरी और किसान गोड़ाउन मेें रखे खाद को अपना बता रहे और वे गत दिनों पेटलावद एसडीएम के कार्यालय पंहुच गये जिससे कालाबाजारी का शक और गहरा गया है।
क्या है मामला- क्षेत्र के ग्राम धतुरिया में गुड्डुसिंह पडिय़ार के मकान के एक हिस्से को कृषि विभाग के द्वारा सोमवार को सील किया गया था। इस दरम्यान पूछताछ में मकान मालिक ने झकनावदा के व्यापारी का गोडाउन बताया कर कहा था कि व्यापारी रतलाम है इसलिए चाभी नहीं है। इस प्रकार का टालमटोल जवाब देने के बाद मकान मालिक ने अब कहा कि यह गोडाउन हमारा ही है और किसानों ने मिलकर खरीदा है जिसे लेकर प्रशासन को शंका हो रही है।
अपुष्ट सूत्रों से खबर है कि यह खाद कालाबाजारी करने के व्यापारियों व सहकारी सोसायटी के संचालकों द्वारा मिलीभगत का परिणाम है। सीजन के समय पर महंगे दाम पर बेचने के लिए इसके अवैध भंडारण की योजना बनायी गयी थी। गौरतलब है कि अगर खाद किसानों को समर्थन मूल्य पर मिल रहा है तो आखिर दों तीन माह पूर्व किसानों को खाद के इस तरीके से भंडारण की आखिर क्या सूझी।
इस संबंध में एसडीएम सीएल सोलंकी ने कहा कि हमारे द्वारा गोडाउन की सील आज खोली गई है जिसमें सैकड़ों खाद की बोरियां निकली है जिन्हें बुधवार को हम्मालों की मदद से कब्जे में लिया गया है। मामले में किसी बड़े घपलेबाजी का संदेह हो रहा है, जिसकी जांच की जाएगी।