धर्म बदलने वाले आदिवासियों को नहीं मिले आरक्षण :भाजपा

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झाबुआ लाइव डेस्क। आदिवासी नेता गोविंद अजनार एवं रमसू पारगी ने संयुक्त बयान दिया कि जयस संगठन का अर्थ क्या है यह नाम धार्मिकता से जुडा हुआ नजर आता है इसकी आड में लोग अपना राजनैतिक उल्लू सीधा करते हुए नजर आ रहे है वही हम शीघ्र ही आदिवासी हितों की लड़ाई लडऩे के लिए आदिवासी हिन्दू नवयुवक संगठन का गठन कर आदिवासी हित की लड़ाई लडेंग़े। अजनार व पारगी ने संयुक्त रूप से कहा कि भाजपा जिलाध्यक्ष दौलत भावसार आदिवासी समाज के लिए तन, मन व धन से पूर्णत: समर्पित है तथा वे आदिवासी हित की लड़ाई बढ़-चढ़ कर कंधे से कंधा मिलकर करते है। भाजपा जिलाध्यक्ष द्वारा किसी भी आदिवासी संगठन के बारे में नक्सलवादी विषय वस्तु को लेकर कोई टिप्पणी नहीं की गई है और न ही उन्होंने किसी प्रकार का वक्तव्य व बयान दिया है परंतु उनके खिलाफ राजनैतिक षड्यंत्र के तहत जयस संगठन द्वारा रैली निकालकर अपने मूल उददेश्यों को भूलकर भाजपा जिलाध्यक्ष को टारगेट बनाकर व नारेबाजी कर उनको टारगेट बनाकर बदनाम करने का प्रयास किया है इसमें राजनैतिक बू नजर आती है। उन्होंने आरोप लगाया कि जयस संगठन कुछ धार्मिक व राजनैतिक संगठनों के इशारे पर यह काम कर रहा है। पिछले लोकसभा चुनाव में जयस से जुड़ पदाधिकारियों ने खुलकर कांग्रेस प्रत्याशी के लिए काम किया था इसके कई प्रमाण हमारे पास मौजूद है।                        दोनों नेताओं का कहना है कि भाजपा संगठन व सरकार आदिवासी समाज और आदिवासियों के सर्र्वांगीण विकास के लिए कटिबद्ध है तथा आदिवासियों को मिलने वाला आरक्षण यथावत मिलना चाहिए इस विषय पर भी वे कायम है तथा मुख्यमंत्री एवं उनकी सरकार द्वारा आदिवासी कर्मचारी व अधिकारियों को पदोन्नत किए जाने के खिलाफ हाईकोर्ट के निर्णय के विरूद्ध सरकार ने सुप्रीम कोर्ट याचिका दायर कर उक्त निर्णय के खिलाफ स्थगन प्राप्त किया है। भाजपा सरकार व संगठन आदिवासियों को मिलने वाले आरक्षण के पक्षधर है। वही नेताद्वय ने आगे बोलते हुए कहा कि झाबुआ जिले सहित प्रदेश-देश में धर्म परिवर्तन कर इसाई बनने वाले आदिवासियों को आरक्षण नहीं मिलना चाहिए जिस प्रकार एसी वर्ग के समाजजनों को धर्म परिवर्तन कर इसाई धर्म ग्रहण करने पर आरक्षण की सुविधा समाप्त हो जाती है ठीक उसी प्रकार आदिवासी हिंदू धर्म को छोड़कर दूसरा धर्म अपनाने वाले ईसाई बनने वाले आदिवासियों के आरक्षण की सुविधा तुरंत समाप्त कर देना चाहिए।

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