अंधेकत्ल का पुलिस ने 24 घंटे में किया पर्दाफाश, मामा-भानजे ने षड्यंत्र रच बड़वाई कुंवरसिंह को उतारा मौत के घाट

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अलीराजपुर लाइव के लिए अलीराजपुर से फिरोज खान (बबलू) की रिपोर्ट-
थाना सोंडवा क्षेत्र के तहत फरियादी आजमाबाई पति कुंवरसिंह निवासी आली पुजारा फलिया ने रिपोर्ट दर्ज करवाई थी कि उसका पति कुंवरसिंह पुजारा (बड़वाई) का काम करता है, जो लोड़ानी वाकनाला में पितोरा होने से जिसका न्योता देने 21 जनवरी को दोपहर 2 बजे गया, जो रात तक वापस अपने घर नहीं आया। पुजारा होने से किसी के यहां रात रुक गया जिसके कारण कहीं पर तलाश नहीं किया गया। 22 जनवरी को सुबह 8 बजे करीब फरियादिया को उसके रिश्तेदार रायला ने घर आकर बताया कि मृतक मामा कुंवरसिंह डुंगलिया पानी रास्ते पर पड़ा है, जिसकी पर फरियादिया ने पहुंचकर देखा तो उसके पति मृतक कुंवरसिंह का शव पड़ा है और सिर व पीठ पर धारदार हथियार के निशान व मृतक के शव से खून निकल रहा था। थाना सोंडवा में अपराध 11/22 धारा 302 भादवि में अज्ञात आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू की। एसपी विपुल श्रीवास्तव एवं एएसपी सीमा अलावा के निर्देशन में एसडीओपी अलीराजपुर घनश्याम बामनिया के नेतृत्व में प्रकरण की जांच हेतु टीम बनाई गई जिसमें सोंडवा थाना प्रभारी सउनि नाथूसिंह व थाना स्टाफ ने अनुसंधान किया तो तो मृतक पुजारा बड़वाई झाड़-फूंक कर बीमारियों का इलाज करता था। और इस दौरान मृतक दोपहर 2 बजे घर से गाता बाबा को न्योता देने के लिए भौरण स्थित पहाड़ी पर गया था। घटना के आरोपी आलमसिंह एवं वरसिंह को 24 जनवरी को संदिग्ध होने से पूछताछ की गई, तो आलमसिंह ने बताया कि उसका भानजा वरसिंह निवासी आली ने पूर्व नियोजित तरीके से मृतक व दोनों ने मिलकर शराब पी उसके पश्चात तीनों आली तरफ जाने लगे, तभी नाले वाले स्थान पर तीनों का आपस में विवाद हुआ जिस पर आरोपी वरसिंह व आलमसिंह ने फालिये से मृतक कुंवरसिंह के सिर-गर्दन व अन्य हिस्सों पर प्राणघातक वार किये और मार डाला। और घटना में प्रयुक्त किए गए फालिये को आरोपियों ने गाड़ दिया। आरोपियों ने अपना जुर्म कबूलते हुए बताया कि मृतक कुंवरसिंह के घर पर आरोपी के रिश्तेदार दवारा करीब 4 वर्ष पूर्व चांदी की रकमे घर में सुरक्षा हेतु रखने के लिए दी थी, जो संबंधित को वापस नहीं करने पर यह रंजिश थी तथा आरोपी वरसिंह भी झाड़-फूंक का काम करता है, जिसके पास इलाज के लिए कम मरीज आते थे, जिससे मृतक के साथ वह ईष्र्या करता था, और आरोपी आलमसिंह स्वयं व उसके परिवार के एक वर्ष से लगातार बीमार चल रहे थे जिसकी शंका मृतक पर थी। इसी कारण मामा-भानजे ने मिलकर कुंवरसिंह को मौत के घाट उतार दिया। घटना में अज्ञात आरोपियों की धरपकड़ में एसडीओपी घनश्याम बामनिया के नेतृत्व में टीम के सदस्य सोंडवा थाना प्रभारी नाथूसिंह, चौकी प्रभारी छकतला सउनि समीर खान, सउनि राज भदौरिया, आर भूरसिंह, आर अमरसिंह, आर राधेश्याम, प्रआर राम अवतार एवं डॉग स्क्वार्ड की भूमिका सराहनीय रही जिस पर एसपी ने टीम को पुरस्कृत किए जाने की घोषणा की।

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