योग प्राण विद्या, सुपरब्रेन व क्षमा प्रार्थना से सिखाई परीक्षा का भय दूर करने की कला

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पीयूष चन्देल, अलीराजपुर

एकलव्य आदर्श आवासीय विद्यालय अलीराजपुर में परीक्षा का भय दूर करने हेतु योग प्राण विद्या का प्रशिक्षण दिया गया, जिसमें बालिकाओं को सिखाया गया कि सुपर ब्रेन आसन ब्रीडिंग एवं क्षमा प्रार्थना किस तरह से करनी चाहिए।
उल्लेखनीय है, की अप्रैल 2019 में भी योग गुरु श्री ओमप्रकाश सानिया द्वारा संस्था की बालिकाओं को योग की शिक्षा दी थी, जिसका बालिकाओं ने निरंतर वर्ष भर प्रातः उठकर लाभ लिया। श्रीमती सीमा श्रीवास्तव हीलिंग ट्रेनर उज्जैन एवं श्री श्रीवास्तव जी द्वारा योग प्राण विद्या की हीलिंग व बालिकाओं को परीक्षा समय में सही ब्रीडिंग कर जबान को तालु से लगाने का अभ्यास करना सिखाया।

क्या है योग प्राण विद्या

योग प्राण विद्या प्रकृति के उन नियमो पर आधारित है, जिनसे हम अनभिज्ञ है। यह एक वैज्ञानिक विद्या है, जो प्राण ऊर्जा पर आधारित है। इस विद्या से बिना दवाई व बिना स्पर्श के बीमारी का उपचार किया जाता है। यह सभी प्रकार के शरीरिक व मानसिक रोगो जैसे साधारण सर्दी खांसी, बुखार, अस्थमा, माइग्रेन, कमरदर्द, हाई ब्लड प्रेशर, गठिया, थाइराइड, शुगर स्टोन, ट्यूमर, केंसर इत्यादि के उपचार में प्रभावशाली है।
यह विद्या बच्चों के शरीरिक व मानसिक विकास में विशेष सहायक है। श्रीमती सीमा श्रीवास्तव ने बताया कि लयबद्ध यौगिक श्वसन क्रिया, सुपर ब्रेन एवं क्षमा प्रार्थना कैसे सहायक है।
1. लयबद्ध यौगिक श्वसन क्रिया से बच्चों का एनर्जी लेवल बढ़ता है। 70 से 80 प्रतिशत ब्लड का प्यूरिफिकेशन होता हैं जो आमतौर पर 25 प्रतिशत ही होता है। इससे बच्चों का ह्यूमानिटी सिस्टम मजबूत होता है और बिना किसी मानसिक तनाव के हर तरह की परीक्षा में उनको मदद मिलती है।
2. सुपर ब्रेन आसन बच्चों की स्मरण शक्ति व एकाग्रता को बढ़ाता है। जो इनके परीक्षा परिणाम को बेहतर बनाता है।
3. क्षमा प्रार्थना तनाव कम करता है, और आपसी सामंजस्य बढाता है।
भारत सरकार द्वारा इसे नेचुरल थेरेपी में मान्यता दी गयी है। कई राज्य सरकारो ने इसे स्कूल व कॉलेज में बच्चों के शारीरिक व मानसिक विकास व तनाव कम करने के लिए अनिवार्य किया है।
संस्था प्राचार्य श्रीमती अंजू सिसोदिया ने बताया कि इस तरह की हीलिंग ट्रेनिंग से बालिकाओ का आत्म विश्वास बढ़ेगा और वे ज्यादा अच्छी तरह से परीक्षा की तैयारी कर सकेंगी। विद्यालय के समस्त स्टाफ सदस्य ने भी प्राण योग विद्या का प्रशिक्षण लिया एवं समस्त स्टाफ ने श्रीमती सीमा श्रीवास्तव का आभार व्यक्त किया। संस्था प्राचार्य ने उन्हें धन्यवाद देते हुए कहा कि वे सदैव स्वस्थ रहें तथा पूरे भारत में इस प्रकार की शिक्षा देने का कार्य करते रहे।

 

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