एमपीइबी ने पूरे गांव की बिजली काटी, दीपक का सहारा लेकर अपने कॅरियर रोशन करने में जुटे विद्यार्थी

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झाबुआ लाइव के लिए पेटलावद से हरीश राठौड़ की रिपोर्ट-
ग्रामीण क्षेत्रों में ग्रामीण बिजली बंद होने से परेशान हो रहे है। क्षेत्र के कई गांवो बिजली के बिल नहींभरे जाने के कारण पूरे गांव की बिजली बंद कर दी है। जिस कारण से जिन्होंने बिल भर रखे है वे भी परेशानी का सामना कर रहे हैं।
बिजली बिल नहींभरने पर पूरे गांव को सजा
क्षेत्र के सैकड़ों गांवों में एक माह से अधिक समय से बिजली नहीं हैै लोग अंधेरे में रात गुजार रहे हैं। बिजली के अभाव में पेयजल की पूर्ति करना भी मुश्किल हो गया साथ ही बच्चों की पढाई मे भी व्यवधान उत्पन्न हो रहा है, जिस और किसी का ध्यान नहीं है। इसी प्रकार एक गांव का नजारा रविवार रात्रि में देखा गया। ग्राम सुवापाट मं दो माह से पूरे गांव की बिजली बंद हैं यहां लगभग 200 मकान है आधे लोगों ने बिजली बिल भर दिए जबकि आधे लोगों ने नहींभरे जिसकी सजा एमपीइबी विभाग पूरे गांवों को दे रहा है।
पढाई हो रही प्रभावित

एक ही स्थान पर एकत्रित होकर दीपक की रोशनी में पढ़ते बच्चे।
एक ही स्थान पर एकत्रित होकर दीपक की रोशनी में पढ़ते बच्चे।

गांव मे जब रात्रि में देखा गया की पूरा गांव अंधेरे में है तथा कुछ बच्चे एक लालटेन के सहारे उसके चारों और बैठ कर पढाई कर रहे हैं। बच्चों से पूछा गया तो उनमें से कक्षा 8वीं में पढऩे वाली भावना कलारा ने बताया है हम पिछले दो माह से ऐसे ही रात्रि में पढ़ाई करते है। गांव में बिजली नहीं है और परीक्षाएं चल रही हैं वही केरोसिन भी नहीं मिल रहा है। इसलिए तेल के दीपक जला कर पढ़ाई कर रहे हैं।
इस प्रकार गांव की एक होनहार छात्रा रवीना अमलियार का कहना है कि परीक्षाओं का समय चल रहा है। कोर्स कठिन है इसलिये दिन रात पढना पढता है किन्तु बिजली के कारण भारी परेशानी उठानी पड़ रही है। वहींगांव के जगन्नाथ सकुला का कहना है की जिसकी गलती है उसे सजा मिलनी चाहिए आखिर पूरे गांव की बिजली बंद करना कहां की समझदारी है?
इस संबंध में अधिकारियों से चर्चा की गई तो उनका कहना है कि विभाग सख्त है। बिजली बिल नहीं भरने के कारण बिजली काटी गई है। यदि समय पर सभी बिजली बिल भर दे तो हम किसी की लाइट नहीं काटे।