नगर परिषद की सुस्त कार्यप्रणाली बनी दुकानदारों के लिए परेशानी का सबब

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रितेश गुप्ता, थांदला
नगर परिषद के जिम्मेदारों की उदासीनता के विरुद्ध पीपली चौराहे स्थित नपा के किरायेदार दुकानदार व पार्षद आदि ने 26 जून से भूख हड़ताल व आमरण अनशन करने का निर्णय लिया है। इस बाबत वार्ड क्रमांक 3 के पार्षद संदीप उपाध्याय (गोलू), वरिष्ठ पत्रकार कुन्दन अरोड़ा तथा पिपली चौराहे स्थित नपा विश्रान्तिग्रह के दुकानदारों ने संयुक्त हस्ताक्षर से एक ज्ञापन स्थानीय एसडीएम बघेल को सौंपा। वरिष्ठ पत्रकार कुन्दन अरोड़ा ने बताया कि नगर परिषद द्वारा पिपली चौराहा स्थित विश्रान्तिग्रह के नीचे के भाग की पुरानी दुकानों को तोडक़र नवीन दुकानों का निर्माण करने का निर्णय लिया था जिस पर काबिज दुकानदारों ने नगर पंचायत के इस निर्णय के विरोध में न्यायालय में वाद प्रस्तुत कर दिया था। इस वाद को समाप्त करने हेतु मुख्य नपा अधिकारी व नपा अध्यक्ष द्वारा सभी काबिज दुकानदारों से लागत मूल्य पर वापस उन्हें ही दुकाने बनाकर देने का वादा कर विधिवत रूप से स्टाम्प पर अनुबंध कर न्यायालय से वाद समाप्त करवा दिया। अपने अनुबंध में इन जिम्मेदारों ने तीन माह में नवीन दुकानों का निर्माण कर प्रत्येक काबिज किरायेदार दुकानदारों से नवीन निर्माण के लागत मूल्य के नाम 1 लाख 35 हजार की राशि जमा करने के निर्देश भी दे दिए । दुकानदारों ने 75-75 हजार की राशि भी तत्काल जमा करवाकर रशीद प्राप्त कर अपनी दुकानें खालीीकर नपा के सुपूर्द भी कर दी। नपा ने भी त्वरित सक्रियता दिखते हुए पुराने भवन को जमींदोज कर दिया।
दुकानदारों का कहना है कि नपा के जिम्मेदारों ने तीन माह में दुकाने बनाकर देने के नाम पर हम से छलकपट कर दुकाने खाली करवाकर जमीदोज कर दी परन्तु आज 9 माह का समय बीत चुका परन्तु दुकानों का निर्माण नही किया जा रहा है। दो दुकानदार बेरोजगार होकर घूम रहे है तो तीन दुकानदार 12 से 15 हजार का उच्च दर का किराया भरकर अपना व्यवसाय कर रहे है। वरिष्ठ पत्रकार कुन्दन अरोड़ा ने बताया कि उन्होंने नपा के जिम्मेदारों व किरायेदारों के बीच मध्यस्थता कर उन्हें दुकाने खाली करने व अनुबन्ध करने के लिए राजी किया व दुकानदारों के हित में अनुबन्ध करवाया परन्तु जिम्मेदारों की क्या मंशा है व दुकानों के निर्माण में क्यो देरी की जा रही है समझ से परे है। दुकाने ध्वस्त करने के बाद टीएस के नाम पर दो माह गुजार दिए फिर विधानसभा चुनाव की आचार संहिता का हवाला देकर टालमटोल किया गया। विधानसभा के चुनाव बाद कभी कांग्रेस पार्षदों की आपत्ति तो कभी भाजपा पार्षदों की आपत्ति का हवाला दिया जाता रहा। जब पार्षदों ने आपत्ति से इनकार किया तो फिर लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लग जाने व हट जाने के बाद निर्माण शुरू करने का कहा था। अब लोकसभा चुनाव की आचार संहिता के खत्म होने के बाद फिर टीएस आने पर निर्माण शुरू करने की बात कर टाला जा रहा है। वार्ड 3 के भाजपा पार्षद संदीप गोलू उपाध्याय ने कहा कि इन दुकानदारों में सभी छोटे व्यापारी है जो कोई चाय की होटल चलाकर तो कोई जूते-चप्पल बेचकर तो कोई बिजली के सामान सुधारने व दाढ़ी.कटिंग करने वाले गरीब व्यवसाय है जिनकी आर्थिक स्थिति भी अच्छी नही है । अधिकांश पार्षद इस बात पर सहमत है कि इन दुकानदारों को शिघ्र दुकाने बनाकर देना चाहिए पर नगर पंचायत के जिम्मेदार न जाने क्यों इसमें रुचि न लेकर टालमटोल कर रहे है जबकि इन गरीब दुकानदारों ने ब्याज पर कर्ज लेकर नपा में लागत मूल्य की राशि भी जमा करवा दी है । पार्षद उपाध्याय ने एसडीएम बघेल को लिखित पत्र सौंपकर कहा कि अगर 25 जून तक नगर पंचायत के जिम्मेदारों ने उक्त दुकानों का निर्माण प्रारम्भ नही किया तो 26 जून से वे इन गरीब दुकानदारों के साथ धरना, भूख हड़ताल व आमरण अनशन प्रारम्भ करेंगे जिसकी समस्त जवाबदारी नगरीय निकाय व प्रशासन की होगी ।

जिम्मेदार बोल-
टीएस आते ही टेंडर प्रक्रिया शुरू की जाएगी तथा शीघ्र ही निर्माण कार्य प्रारंभ किया जाएगा। दुकानदारों की अब किसी भी प्रकार की समस्याओं का सामना नहीं करना पड़ेगा। – बंटी डामोर, नगर परिषद अध्यक्ष
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