एतिहासिक गल पर्व पर जुटे ग्रामीण

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भूपेंद्र बरमण्डलिया@मेघनगर

मेघनगर के समीप रंभापुर ग्राम में गढ़ का आयोजन प्रतिवर्ष मनाया जाता है।इस वर्ष गढ़ पर्व का उत्साह काफी बेहतर नजर आया। गढ़ पर्व मेघनगर के रंभापुर में ऐतिहासिक समय में मनाया जाता रहा है। जिसको देखते हुए मंगलवार को भी गढ़ पर्व राम मंदिर समीप पर आयोजित हुआ। शाम 4 बजे गढ़ स्थल पर शहर सहित आसपास के ग्रामीण क्षेत्रों से महिला-पुरूष, युवा एवं बच्चे एकत्रित हुए। कुछ ग्रामीणों का समूह ढोल-मांदल और थाली की थाप पर थिरकता नजर आया तो कुछ ग्रामीण गढ़ का आनंद लेते देखे गए।  उक्त आयोजन में रंभापुर के सरपंच बाबू सिंह गणावा एवं तादलादरा के तड़वी ने धूप ध्यान दीपक करके गढ़ प्रथा का शुभारंभ किया।

ऐसे मनाते हैं गल

40 फिट ऊंचे चिकने डंडे पर चढ़े युवा
गढ़ अर्थात करीब 40 फिट ऊंचे चिकने डंडे पर, डंडे को चिकने पदार्थ लगाकर बेहद चिकना किया जाता है, ताकि इस पर आसानी से ना चढ़ा जा सके। बमुष्किल 2-3 युवक ही चिकने डंडे पर संभलकर चढ़ते हुए सबसे ऊंच षिखर पर जा सके, अन्य युवक जो डंडे पर नहीं चढ़ पाए वहीं डंडे को चारो से बांधी गई रस्सी के सहारे ऊपर तक पहुंचे। इस बीच कुछ युवक दोनो से भी चढ़ने में नाकामयाब रहे। सबसे ऊंचे षिखर पर युवक के चढ़ने के बाद नीचे खड़े ग्रामीणों के समूह ने गुड़ की पोटली ऊपर युवक को फेंकी। बाद पोटली में से युवकों ने गुड़ निकालकर इसे नीचे ग्रामीणों को फैंका।

*पुलिस प्रशासन रहा सक्रिय*

गढ़ पर्व व्यवस्था ग्राम पंचायत रंभापुर व मेघनगर पुलीश द्वरा गढ़ स्थल पर शांति व्यवस्था को देखते हुए पुलिस सुरक्षा के भी पुख्ता इंतजाम रहे। गढ़ उत्सव को देखते हुए मेघनगर थाना प्रभारी श्रीमती आरती चराटे व अतिरिक्त झाबुआ पुलिस बल के साथ रंभापुर गढ़ वाले स्थान पर पहुंची व साथी रंभापुर चौकी प्रभारी पायल शर्मा ने भी सुरक्षा व्यवस्था को बखूबी देखा गया। उक्त आयोजन दोपहर से शाम 5 :30 बजे तक चला । इसके बाद ग्रामीणजन अपने-अपने गंतव्य स्थलों की ओर रवाना हुए।

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