भारत के आदिवासियों की अंतिम पीढ़ी द्वारा अन्तिम पीढ़ी को बचाने के लिए अंतिम लड़ाई लड़ी जा रही है- सतीश पेंदाम
शिवा रावत, आलीराजपुर
अंतर्राष्ट्रीय आदिवासी अधिकार दिवस के उपलक्ष्य में पंचायत ग्राउंड सोण्डवा में विशाल आदिवासी सम्मेलन का आयोजन किया गया।जिसमें आदिवासी समाज के हजारों की संख्या में समाज जन सम्मिलित हुई।कार्यक्रम के मुख्य वक्ता राष्ट्रीय अध्यक्ष बिरसा ब्रिगेड़ के इंजीनियर सतीश पेंदाम ने कहा कि वर्तमान में भारत के आदिवासियों की अंतिम पीढ़ी द्वारा अन्तिम पीढ़ी को बचाने के लिए अंतिम लड़ाई लड़ी जा रही हैं।आदिवासी समाज,पार्टीवाद एवं संगठनवाद में बटा हुआ है। इसलिये देश में आदिवासियों के हालात बहुत खराब है।मणिपुर में हमारी बहनों को निर्वस्त्र कर घुमाया जा रहा हैं,उनको गोलियों से भुना जा रहा हैं,देश की महामहिम राष्ट्रपति एक आदिवासी महिला एवं मणिपुर की राज्यपाल भी एक आदिवासी महिला होने के बाद भी आपने क्या किया ये पार्टीवाद एवं संगठनवाद का परिणाम देख रहे हो।
आदिवासी क्षेत्रों में पुलिस थानों की जगह सेना तैनात की जा रही है।आप सभी अभी नहीं संभल पाये को आप भी मारे जायेंगे।आने वाली पीढ़ी के लिये आप कुछ नही कर पावोंगे। बच्चा आपका हैं परन्तु आपके बच्चों को दीमांक दूसरों का दिया जा रहा है।सरकारों को रिजर्व टाइगर की चिंता हैं और ट्राइबल्स की नही।ट्राइबल्स की जमीनें चीनी जा रही हैं,उसकी किसी को भी चिंता नहीं है।सरकार की नजरों में आदिवासियों की कीमत पशुओं से भी गई बीती है। मध्यप्रदेश में आदिवासियों के ऊपर पेशाब किया जा रहा है।आज एक पुरुष के ऊपर पेशाब किया गया है कल आपकी बहन बेटी के ऊपर पेशाब किया जाएगा तो आपको कैसा लगेगा। इतनी अमानवीय घटनाएं घटने के बाद भी हमारे जनप्रतिनिधि मोन धारण किये हुये हैं।हमारे समाज के जनप्रतिनिधि आपको नही बचा सकते हैं।उसके लिए आपको ही एक होकर लड़ना पड़ेगा। 5 वीं एवं 6वीं अनुसूची के साथ ही पैसा एक्ट के बारे चर्चा की गई है।मूलरूप में लागू नही किया गया है, आपको बंदूक पकड़ा दी गई हैं परन्तु गोली नही दी है ऐसे एक्ट से आदिवासियों का भला होने वाला नहीं है।जनप्रतिनिधियों को पार्टीवाद से ऊपर उठकर समाज के लिए काम करना चाहिए। आज यहां भारतीय जनता पार्टी तथा कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं समाज के विभिन्न सामाजिक संगठन के लोग एक साथ बेठे हुये हैं, ये खुशी की बात है।सभी समाज के लोग एक जाजम पर बैठकर अपने अपने समाज की भावी पीढ़ी के बारे चिंता करते हैं। इसलिये हम को भी चिंता करना पड़ेगी।
भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व जिला अध्यक्ष वकील भाई ठकराला ने कहा कि ये समाज की बैठक हैं हम सबको समाज मे रहना और मरना हैं,समाज को आगे बढ़ाने की सबकी जवाबदारी हैं,नहीं तो हम भी बचने वाले नही हैं।हमारे समाज के क्रांतिकारियों की विचारधारा पर चल कर आगे बढ़ना पड़ेगा।
जयस के राष्ट्रीय अध्यक्ष लोकेश भाई मुजाल्दा ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र संघ ने 13 सितंबर 2007 को विश्व के आदिवासियों के लिए 1से 46 अनुच्छेद की घोषणा की है जिसमें आदिवासियों के लिए व्यापक अधिकार समाहित है, जिसमें आदिवासियों की संस्कृति की सुरक्षा किये जाने तथा उनके प्राकृतिक संसाधन जल,जंगल और जमीन उनके रहवासी क्षेत्र से विस्थापित या बेदखल नहीं किया जाने की घोषणा की गई है।इसके साथ ही अस्तित्व बचाने और आत्मसम्मन तथा निरंतर विकास जैसे कई प्रावधान किए गए हैं। समाज जनों को अपने अधिकारों को लेकर सजग रहना होगा।
बीईओ कठ्ठीवाड़ा के भर्ष्टाचार का मामला सम्मेलन में उठा वक्ताओं ने कहा लिप्त कर्मचारियों पर कार्यवाही हो अन्यथा आंदोलन होगा। जयस के उपाध्यक्ष अरविन्द कनेश ने कहा कि अलीराजपुर जिला आदिवासी बाहुल्य जिला हैं,आदिवासी विकास विभाग में करोड़ों रुपये का बजट आता है।जनप्रतिनिधियों एवं अधिकारियों की मिलीभगत से करोड़ों रुपये का भारी भरकम भ्रस्टाचार प्रत्येक विभाग में किया जा रहा है। खण्ड शिक्षा कार्यलय कठ्ठीवाड़ा में करोड़ों रुपये का भ्रस्टाचार उजागर होने के बाद भी जनप्रतिनिधियों के संरक्षण में दोषी कर्मचारी पर अभी तक एफआईआर दर्ज नही की गई है।जिला प्रशासन को चेतावनी देते हुए कहा कि लिप्त कर्मचारियों के विरुद्ध एफआईआर दर्ज कर तत्काल गिरिफ्तार करें,अन्यथा जिले में बड़े स्तर पर आंदोलन किया जागेगा।

