कस्बे में जीर्णशीर्ण हो चुके भवन दे रहे हादसों को न्योता, लेकिन जिम्मेदारी की चुप्पी बनी परेशानी का सबब

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मयंक विश्वकर्मा, आम्बुआ

)आम्बुआ कस्बे में वर्षों पूर्व बनाए गए शासकीय अर्धशासकीय कई ऐसे भवन जो या तो गिर रहे हैं या फिर कभी भी गिर कर जनहानि कर सकते हैं कुछ भवनों को समाचार पत्रों में प्रकाशित समाचारों के बाद गिरा दिये गए हैं जिससे भविष्य की दुर्घटनाए टल गई है।  मगर जो बचे हैं वे भय उत्पन्न कर रहे हैं आशंका है कि भविष्य में कभी गिर ना जाए ऐसे भवनों को चिन्हित कर गिरा देना जरूरी माना जा रहा है। आम्बुआ कस्बे में पुराना थाना भवन तथा अभी हाल ही में थाना प्रभारी के पुराने भवन में प्रकाशित जन हितेषी समाचार के बाद जमीन्दोज कर दिए गए। मगर अभी भी कुछ भवन ऐसे हैं जो अपनी उम्र पूरी कर चुके हैं। इन्हीं में एक भवन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के पास पशु स्वास्थ्य विभाग का मुर्गी पालन केंद्र का भवन है जो कि विगत 15 से 20 सालों से खाली पड़ा होकर अनुपयोगी है,रख रखाव तथा उपयोग में नहीं होने के कारण अभी हाल ही में हुई रिमझिम वर्षा में गिर रहा है। उसकी दीवारें गिरी है गनीमत यह रही कि जब दिवारी गिरी तो वहां कोई मौजूद नहीं था भवन के आसपास स्वास्थ्य परिसर में मरीज आदि मौजूद रहते हैं जो कि ठंड तथा गर्मी से बचाव हेतु इस भवन की दीवार की छांव में बैठ जाया करते हैं । समीप ही स्वास्थ्य विभाग के एक कर्मचारी का निजी निवास भवन विगत माह मे बन कर उसमें निवास किया जा रहा है इस जीर्ण शीर्ण भवन से इस कर्मचारी के परिवार को भी हानि की आशंका है।
इसके अतिरिक्त पंचायत परिसर में ग्रामीण सचिवालय के नाम से बने दो गटर फर्सी वाले कमरे जिसमें कुछ समय पूर्व तक पटवारी का कार्यालय भी था अब जीर्ण शीर्ण होकर वर्षा का पानी टपक रहा है । शीलन के कारण यह कभी भी धराशायी हो सकता है भवन के बारान्दे मे बच्चे खेलते रहते हैं आसपास कई रहवासी मकान तथा दुकान है हाट बाजार के दिन यहां पर दुकानें भी लगाई जाती है ।पंचायत परिसर में ही कृषि विभाग का भवन जो कि जीर्ण शीर्ण हो रहा है आंधी में इसकी छत की चददर उड चुकी हे कमरों में कबाड भरा हुआ हे। कर्मचारी के नहीं रहने के कारण रखरखाव के आभार मे गिरने की कगार पर हे । इसी से लगा हुआ पंचायत सचिव का क्वाटर जो की थाना प्रभारी का कमरा गिराये जाने के बाद एक और से दीवारों पर वर्षा के पानी से हानि पहुंचा रहा है इसी के साथ साथ पुराना पंचायत भवन भी जीर्ण शीर्ण है जिसमें एक निजी शिक्षण संस्था संचालित है जहां पर बच्चे असुरक्षित माने जा रहे हैं इन सभी पुराने भवनों को तोड़कर नवीन भवन बनाए जाने की जरूरत महसूस की जा रही है ताकि भविष्य की किसी दुर्घटना से बचा जा सके।

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