रमजान बिदाई की ओर, 7 दिन बाद ईद का त्यौहार होगा, लयलतुल कद्र पर इबादत में बीती रात,  रोशन हुईं मस्जिदें, फूलों से सजाया मस्जिद को

मयंक विश्वकर्मा, आम्बुआ

यहां बोहरा समाज ने 23वां रोज़ा रखा तो मुस्लिम समाज ने 21वां रोज़ा। पवित्र रमजान माह अब विदाई की ओर है। बीती लयलतुल-शबे कद्र की पूरी रात बोहरा समाजजनों ने जागरण कर इबादत में गुज़ारी। 52वे व 53वें धर्मगुरु के कलाम और उपदेशों का वीडियो  रिकार्डिंग का प्रसारण मस्जिदों में किया गया। 

आम्बुआ,अलिराजपुर,आजाद नगर, जोबट, नानापुर, कुक्षी, झाबुआ, दाहोद, स्थित बोहरा मस्जिदें और सभी मरकज में 31मार्च की शाम से शुरू हुआ इबादत का सिलसिला अलसुबह तक जारी रहा। सभी समाजजनों ने पूरी रात जागकर इबादत कर दुआएं की और अपने गुनाहों की माफ़ी मांगी।  मस्जिदों में देश के लिए अमन, चैन, तरक्की और अच्छे स्वास्थ के लिए अल्लाहताला की बारगाह में सजदा कर दुआएं फऱमाईं और मुरादे मांगीं। समाज के हुसैन भाई,मुर्तुजा भाई,हुजेफा  भाई,हकीम भाई ने बताया कि लयलतुलत कद्र यानी सबसे पवित्र रात रमजान में 23वें रोज़े की पूर्व रात को इबादत के लिए सबसे ज्यादा अहमियत दी गई है।

बोहरा समाजजनों ने रिश्तेदारों, दोस्तो व पड़ोसियों को फोन व सोशल मीडिया के जरिए  किसी से हुवे किसी भी तरह के वाद विवाद के लिए एक  दूसरे से माफी तलब  की दुआओं में याद रखने के मैसेज  व सैय्यदना साहब की मिलाद जन्मदिन की बधाई के संदेश प्रेषित किए। समाज के हुसैन भाई नजमी ने बताया मुरादे मांगी रहमतों, बरकतों, दुआओं और इबादतों से सुसज्जित महीना माहे रमजान अपने आखिरी दिनों की ओर अग्रसर है। आखिरी कुछ दिन, जो कि माहे रमजान के खास 10  दिन कहे जा सकते हैं, वह 30 मार्च तारीख से शुरू हो गए हैं। इन खास चंद दिनों में सबसे ज्यादा फजीलत शबे कद्र कल की रात मानी गई। क़ुरआन शरीफ़ में इस रात को हज़ार महीनों से ज्यादा अफजल कहा गया है। बोहरा समाजजनो को 30 दिनों के लिए पधारे जनाब हुसैन भाई सादड़ी वाला  ने  पूरी रात नमाज पढ़ाई व इबादत कराई बोहरा समाज 9 अप्रैल  मंगलवार को ईद उल फितर मीठी ईद का त्योहार मनाएगा।

धर्मगुरु की सालगिरह मनाई

दाऊदी बोहरा समाज के धर्मगुरु 53वें दाई आली क़दर सैय्यदना मुफद्दल सैफुद्दीन साहब की 81वीं सालगिराह मस्जिद में  30 दिनों के लिए पधारे जनाब हुसैन भाई साहब के द्वारा समाजजनो  के साथ केक काट कर मनाई। खास रात में समाजजनो ने उनकी सेहत और लंबी उम्र की दुआ भी की। सुबह सैयदना साहब के मिलाद के मौके पर समाजजनों ने आतिशबाजी की।

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