देवप्रबोधनी एकादशी पर माता तुलसी एवं सालिग्राम की विधि विधान से पूजा की गई

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मयंक विश्वकर्मा, आम्बुआ 

चातुर्मास में योग निद्रा में सोए श्री हरि विष्णुजी आज देव उठनी एकादशी को जागने के उपलक्ष्य में हिंदू सनातन धर्मावलंबियों द्वारा भगवान श्री सालिग्राम तथा तुलसी जी की पूजा कर दोनों का विवाह संपन्न कराने की परंपरा है। जिसके चलते आज कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष एकादशी को सभी सनातनी हिन्दू धर्म के परिवारों में घर आंगन को साफ स्वच्छ कर तथा आंगन में सुंदर रंगोली सजाकर कर तुलसी माता को चुनरी तथा श्रंगार सामग्री अर्पित की जा कर श्री हरि विष्णु के सालिग्राम रूप में माता तुलसी के साथ विवाह संपन्न कराया गया, तथा गन्ना का मंडप सजाया गया, उपरांत आरती कर भोग प्रसादी अर्पित की गई। प्रबोधिनी एकादशी के चार माह से रूके हुए मांगलिक कार्यक्रम प्रारम्भ हो जायेगें।

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