फिर से उठी सोण्डवा की रवीना हत्याकांड की सी.बी.आई. जांच तथा बलात्कारियों को फाँसी की सजा की मांग

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पीयुष चन्देल, अलीराजपुर 

 गुजरात राज्य के मोरबी में नाबालिक मासूम बच्ची के साथ हैवानियत कर नृशंस हत्या तथा महिलाओं के ऊपर हो रहे शोषण व अत्याचार को लेकर महामहीम राष्ट्रपति के नाम से आदिवासी समाज के बैनर तले विभिन्न सामाजिक संगठनों के प्रतिनिधियों ने नारे बाजी करते हुए कलेक्टर कार्यालय पहुँच कर वहाँ डिप्टी कलेक्टर राकेश परमार को ज्ञापन सौंप कर बलात्कारियों को फाँसी की सजा की मांग की गई। ज्ञापन में बताया गया है, कि दाहड़की के लिए गया मजबूर मजदूर ललित खराड़ी पिता पुंजा खराड़ी जाति आदिवासी भील जो कि अपने छोटे छोटे बच्चों को साथ में लेकर मजदूरी के लिए मोरबी गया था।वहाँ पर उसकी छोटी मासूम आबाद बेटी आयुषी खराड़ी उम्र 07 वर्ष निवासी ग्राम नोगाँवा तहसील मेघनगर जिला झाबुआ म.प्र. अपने माता पिता के साथ मोरबी गये हुये हैं, अपनी गरीब स्थिति के कारण खान पान की व्यवस्था मजदूरी के भरोसे जीवनयापन चल रहा है, माता पिता अपने अस्थाई पड़ाव पर मासूस बच्ची को प्रतिदिन की तरह छोड़ कर मजदूरी के लिए चले गए, वहाँ मासूम को अकेला पाकर दुराचारी द्वारा बहला फुसलाकर सुनसान स्थान पर ले जाकर जघन्य कृत्य कर उसकी नृशंस हत्या कर लाश को सुनसान जगह पर फेंक दी गई थी,। आदिवासी समाज ने तत्काल जघन्य अपराधी एवं बलात्कारियों को फास्टट्रैक कोर्ट में सुनवाई कर फांसी की सजा की मांग की गई है, एवं पीड़ित परिवार को आर्थिक संबल प्रदान करने के लिए एक करोड़ रुपये की सहायता की मांग की गई।

सोण्डवा की रवीना हत्याकांड की सी.बी.आई. जांच की उठी मांग

8 वर्ष पूर्व जिले के सोण्डवा में एक मासूम के साथ हैवानियत कर हत्या की गई थी, आज तक पुलिस प्रशासन की उदासीनता एवं नाकामी की वजह से हत्यारों को पकड़ नही पाई है। ज्ञापन में कहा गया है, कि पुलिस प्रशासन द्वारा जनप्रतिनिधियों के दबाव में उक्त प्रकरण को दबाया गया है। प्रकरण को पुनः विवेचना लेने के लिए जिले के विभिन्न संगठनों के रवीना हत्याकांड सोण्डवा की जांच सी.बी.आई. से करने की मांग की गई है।

कलेक्ट्रेड परिसर में सर्वसमाज ने मोन धारण कर दी श्रद्धांजलि

कलेक्ट्रेड में डिप्टी कलेक्टर को ज्ञापन सौंपने के बाद सभी उपस्थित सर्व समाज जनो ने कलेक्टोरेट परिसर में ही दो मिनिट का मौन धारण कर श्रद्धांजलि अर्पित की ओर आयुषी की मृत आत्मा की शान्ति एवं इस दुःखत घड़ी में परिवार को प्रकृति से संम्बल प्रदान करने की प्रार्थना की गई।
इस अवसर पर आदिवासी समाज महिला मंडल, ब्राह्मण महिला मंडल, अजाक्स, आकास, राज्य शिक्षक अध्यापक संघ, अध्यापक संविदा शिक्षक संघ, जय आदिवासी युवा शक्ति(जयस) एवं आदिवासी छात्र संघ सहित सर्वसमाज के प्रतिनिधि उपस्थित रहे।

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