पढ़िए…हिंदू युवा जनजाति संगठन ने क्यों दी आंदोलन की चेतावनी

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दीपेश प्रजापति@झाबुआ

सरकार द्वारा निशुल्क खाद्यान्न वितरण केंद्र एवं राज्य सरकार द्वारा किया जा रहा है। राज्य सरकार द्वारा 11 फरवरी को एक आदेश निकाला गया जिसमें कहा गया है कि राज्य सरकार द्वारा दिया जाने वाला अनाज 15 मार्च तक बांटना है। लेकिन कई शासकीय उचित मूल्य की दुकान आज तक खुली ही नहीं। इसके बाद प्रधानमंत्री निशुल्क खाद्यान्न 16 मार्च से  31 मार्च तक बांटने का आदेश दिया गया। 

उचित मूल्य दुकानों की स्थति देखने के लिए हिंदू युवा जनजाति संगठन ने दुकानों का भ्रमण किया। इस दौरान जिले की कई सोसाइटी बंद पाई गई। जैसे पारा, सीलखोदरी, ढोलियावढ़, आदि दुकान 15 मार्च तक बंद पाई गई। संगठन का आरोप है कि सरकार अपनी व्यवस्था क्यों नहीं सुधार रही है। जिले की कितनी दुकानें खुली पाई गई जिसमें प्रति व्यक्ति 5 किलो ही अनाज दिया जा रहा है तो फिर प्रधानमंत्री वाला फ्री अनाज कब बांटा जाएगा। जिसकी जानकारी अधिकारी के पास नहीं है। जैसे रेहनदा, अगेरा, आदि दुकानों पर प्रति व्यक्ति 5 किलो अनाज दिया जा रहा है आखिर क्यों सरकारी आदेश का प्रचार-प्रसार नहीं किया जाता है। सरकारी आदेश की ग्रामीणों को जानकारी ही नहीं दी जाती है जिसके कारण ग्रामीणों को दर-दर की ठोकरें खानी पड़ रही है। भ्रमण के दौरान संगठन के महामंत्री कमलेश मावी एवं रामा ब्लॉक अध्यक्ष गोविंद राठौड़ ने बताया सरकार और प्रशासन अपनी व्यवस्थाएं सुधार अन्यथा हिंदू युवा जनजाति संगठन उग्र आंदोलन करेगा। जिसकी संपूर्ण जिम्मेदारी शासन और प्रशासन की रहेगी।

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