मनोहर सेठिया को लगा झटका , सीसीबी संचालक पद का आवेदन निरस्त हुआ

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झाबुआ लाइव डेस्क के लिऐ ” दिनेश वर्मा ” की EXCLUSIVE  रिपोर्ट  ।।

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झाबुआ की जिला सहकारी बैंक के चेयरमेन पद के एक प्रबल दावेदार राणापुर क्षैत्र के कद्दावर नेता ओर दो बार के जिलाध्यक्ष ” मनोहर सेठिया को आज अब तक की राजनीति का उस समय सबसे बडा झटका लगा जब उनका ” संचालक” पद हेतु आवेदन ही रद्द कर दिया गया ओर इसकी वजह बने कभी ” मनोहर सेठिया” के बेहद विश्वस्त रहे पूव॔ नगर परिषद अध्यक्ष ” गोविंद अजनार” ।

ऐसे निपटाये गये ” सेठिया”

दरअसल कल ” मनोहर सेठिया ” ने संचालक पद हेतु अपना नामांकन पत्र भरा था इस आवेदन की वैधता के लिऐ इसमे एक प्रस्तावक ओर एक अनुमोदक का होना अहम है राजनीतिक प्रभाव का इस्तेमाल कर सेठिया ने यह दोनो जुगाड़ कर लिऐ थे प्रस्तावक बने ” लालू सेकडिया” ओर संगठन के दबाव मे ” अनुमोदक” बनी ” संगीता गोविंद अजनार” । मगर संगीता गोविंद अजनार ” राधेश्याम राठौड ” की प्रस्तावक भी बन गई ओर राधेश्याम का फाम॔ पहले जमा हो गया था ओर नियमो के मुताबिक जो फाम॔ पहले जमा हुआ वह मान्य घोषित होता है ओर बाद वाला अमान्य । क्योंकि सहकारिता चुनाव नियमों के अनुसार एक आवेदन मे ही अनुमोदक बना जा सकता है दो मे नही । इसके अलावा यह जनचर्चा भी है कि मनोहर सेठिया के आवेदन मे अनुमोदक के हस्ताक्षर भी कुछ हटकर है । बहरहाल अब सच्चाई यह है कि मनोहर सेठिया अब जिला सहकारी बैंक के चेयरमेन पद की दौड ओर संचालक की पद की दौड दोनो से बाहर हो चुके है ।

जनपद चुनाव से बढी थी दूरिया

  बीजेपी नेता मनोहर सेठिया की राजनीतिक उपज गोविंद अजनार को राणापुर इलाके की राजनीति मे माना जाता था दोनो के बीच करीब 6 साल तक अच्छा तालमेल भी रहा लेकिन बताते है विगत ” जनपद पंचायत राणापुर के चुनाव  के बाद दोनो मे दूरिया जनपद अध्यक्ष को लेकर बढ गयी थी ओर उस समय गोविंद ने अपनी मां को जनपद अध्यक्ष बनवा दिया था । उसके बाद एक अखबार मे प्रकाशित विज्ञापन के चलते दोनो मे विवाद हुआ ओर फिर सीएम के दो राणापुर दौरों मे दोनो के बीच कटुता देखी गई थी । लेकिन आज मनोहर सेठिया की 30 साल की अधिक की राजनीति मे सबसे मायूसी भरा दिन होगा ।

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